गाजियाबाद पुलिस ने एक अंतरराज्यीय धोखाधड़ी गैंग के दो सदस्यों को गिरफ्तार किया है। ये आरोपी एटीएम बूथों पर हेल्पलाइन नंबर के रूप में अपने मोबाइल नंबर लिखकर लोगों के खातों से पैसे निकालते थे। पुलिस ने उनके पास से 10 डेबिट कार्ड, एक कार, चाकू और 55 हजार रुपये सहित अन्य सामान बरामद किया है। ये आरोपी देश के विभिन्न राज्यों में इस प्रकार की धोखाधड़ी कर चुके हैं।
धोखाधड़ी की तकनीक
पुलिस के अनुसार, ये लोग एटीएम के कार्ड डालने वाले हिस्से में फेविक्विक जैसा पदार्थ डाल देते थे, जिससे कार्ड फंस जाता था। इसके बाद, पीड़ित व्यक्ति हड़बड़ी में हेल्पलाइन नंबर पर कॉल करता था। आरोपी उससे बैंक की जानकारी लेकर उसके खाते से पैसे निकाल लेते थे।
आरोपियों की पहचान
गिरफ्तार आरोपियों के नाम संदीप और गौरव हैं। गौरव ने पहले कॉल सेंटर में काम किया है और वह पीड़ितों से बैंककर्मी बनकर बात करता था। संदीप ने बताया कि उसने यू-ट्यूब पर एटीएम धोखाधड़ी के तरीके सीखे और इसके बाद गौरव को भी इस काम में शामिल किया।
धोखाधड़ी का विस्तार
संदीप ने बताया कि उन्होंने दिल्ली-एनसीआर, मध्यप्रदेश, गुजरात, हरियाणा और राजस्थान में 100 से अधिक धोखाधड़ी की घटनाएं की हैं। गैंग के अन्य सदस्य बंटी और शेखर की भी तलाश की जा रही है।
धोखाधड़ी की प्रक्रिया
गैंग के सदस्य ऐसे एटीएम बूथों को निशाना बनाते थे, जहां सुरक्षा गार्ड नहीं होते थे। वे अपना फोन नंबर हेल्पलाइन के रूप में लिख देते थे। जब कोई व्यक्ति कार्ड डालने की कोशिश करता था, तो उनका कार्ड फंस जाता था। इसके बाद, एक सदस्य पीड़ित को धोखा देकर पिन नंबर हासिल कर लेता था।
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