Next Story
Newszop

पाकिस्तान पर लंबी दूरी के सटीक हमले... ना भूलने वाला जख्म, सीडीएस अनिल चौहान ने बताया कैसा रहा असर

Send Push
नई दिल्ली : चीफ ऑफ डिफेंस स्टाफ जनरल अनिल चौहान ने मंगलवार को कहा कि मई में ऑपरेशन सिंदूर के दौरान लंबी दूरी के सटीक हमलों से पाकिस्तान में 'बहुत बड़ा मनोवैज्ञानिक प्रभाव' पड़ा। उन्होंने दोहराया कि ऑपरेशन सिंदूर अभी तक बंद नहीं किया गया है। सीडीएस ने कहा कि युद्ध और राजनीति का गहरा संबंध है। युद्ध अक्सर राजनीतिक उद्देश्यों की पूर्ति के लिए लड़े जाते हैं। आज, हम ऑपरेशन सिंदूर जैसे बहुत ही छोटे, सटीक युद्ध देख रहे हैं, जहां राजनीतिक लक्ष्यों को तीव्र और लक्षित कार्रवाई के माध्यम से प्राप्त किया जाता है।



यह देखते हुए कि प्रभाव और प्रभाव के माध्यम से 'प्रभुत्व' हासिल करना नया मानदंड है, सीडीएस ने कहा कि ऑपरेशन सिंदूर किसी क्षेत्र या युद्धबंदियों पर कब्जा करने के लिए नहीं किया गया था। उन्होंने कहा कि (चुने हुए लक्ष्यों पर) बहुत लंबी दूरी के सटीक हमले किए गए। प्रभाव महत्वपूर्ण था। शारीरिक रूप से कम, लेकिन मनोवैज्ञानिक प्रभाव कहीं अधिक था। (भारत) सटीकता के साथ बहुत अंदर तक वार कर सकता था।



24x7 हाई लेवल ऑपरेशन के लिए रहना होगा तैयार

उन्होंने आगे कहा कि इसने मनोवैज्ञानिक रूप से बहुत बड़ा प्रभाव डाला और श्रेष्ठता का प्रदर्शन किया। आज यही जीत का सार है, इसका क्षेत्र से कोई लेना-देना नहीं है। प्रभुत्व इसी तरह बदल रहा है। सरकार की तरफ से तय 'नए मानदंडों' के अनुरूप, सीडीएस ने कहा कि भारतीय सशस्त्र बलों को चौबीसों घंटे 'अत्यंत उच्च स्तरीय' ऑपरेशनल तैयारियां बनाए रखने की आवश्यकता है। उन्होंने कहा कि सीमा पार आतंकवाद का भारत की तरफ से उचित जवाब दिया जाएगा। ऐसे में आतंकवादियों को अब पाकिस्तान में सुरक्षित पनाहगाह नहीं मिल पाएगी।



तीन स्तर पर बदलाव पर जोर

चीफ ऑफ डिफेंस स्टाफ जनरल अनिल चौहान मंगलवार को दिल्ली कैंट स्थित मानेकशॉ सेंटर में आयोजित ‘एनुअल ट्राइडेंट लेक्चर सीरीज’ के उद्घाटन सत्र में हिस्सा लेने पहुंचे थे। उन्होंने युद्ध के बदलते स्वरूप से पैदा हो रहे सुरक्षा खतरों से प्रभावी ढंग से निपटने के लिए उन्होंने विघटनकारी तकनीकों को शीघ्रता से अपनाने, पारंपरिक सैन्य ढांचों पर पुनर्विचार करने और थल, जल एवं वायु सेनाओं के बीच त्रिसेवा समन्वय को प्राथमिकता देने की आवश्यकता पर बल दिया। उन्होंने बताया कि आधुनिक युद्धक्षेत्र में श्रेष्ठता प्राप्त करने के लिए हमें सोच, रणनीति और ढांचे, तीनों स्तरों पर परिवर्तन लाना होगा।

Loving Newspoint? Download the app now