Next Story
Newszop

हनुमान चालीसा का पाठ: सही विधि और सामान्य गलतियाँ

Send Push
हनुमान चालीसा का महत्व

लाइव हिंदी खबर :- हनुमान चालीसा में एक महत्वपूर्ण पंक्ति है, "बुद्धिहीन तनु जानिके सुमिरौं पवन-कुमार। बल बुधि विद्या देहु मोहिं हरहु कलेस बिकार ॥" इसका अर्थ है कि हे पवनपुत्र हनुमान, हमें बिना बुद्धि के जानकर हमारी गलतियों को क्षमा करें और हमें ज्ञान प्राप्त करने के लिए आपके पास आने का अवसर दें। हिन्दू धर्म में भक्त हमेशा भगवान से ज्ञान और बुद्धि में कमतर मानते हैं, और परमात्मा को सभी ज्ञानी मानते हैं।


इसलिए भक्त भगवान की शरण में जाकर उनसे ज्ञान प्राप्त करने की प्रार्थना करता है। हनुमान चालीसा की यह पंक्ति इस बात का एक स्पष्ट उदाहरण है।


हनुमान चालीसा एक ऐसा साधन है जिसके माध्यम से भक्त हनुमानजी से ज्ञान, शक्ति और बुद्धि प्राप्त करता है। लेकिन यह तभी संभव है जब भक्त बिना किसी गलती के हनुमान चालीसा का पाठ करे।


हनुमान चालीसा पढ़ने में सामान्य गलतियाँ

हालांकि, 'गलती' का अर्थ केवल उच्चारण नहीं है, बल्कि कई अन्य गलतियाँ भी हैं जो भक्त अनजाने में कर सकते हैं।


इन गलतियों से बचें:



  • हनुमान जी को चालीसा पढ़ने से पहले गंगाजल से स्नान कराएं।

  • लाल रंग के आसन पर बैठकर हनुमान चालीसा का पाठ करें।

  • चालीसा के बाद हनुमान जी को भोग अर्पित करते समय उसमें तुलसी के पत्ते अवश्य शामिल करें।

  • हनुमान जी को सिंदूर, चमेली का तेल और जनेऊ अर्पित करें।

  • हनुमान चालीसा का पाठ हमेशा मंगलवार या शनिवार से शुरू करें, और इसके बाद इसे रोजाना करें।

  • एक बार शुरू करने के बाद कम से कम 40 दिनों तक इसे लगातार करें, बीच में एक भी दिन न छोड़ें।

  • हनुमान चालीसा का पाठ नहाकर और साफ कपड़े पहनकर करें।


  • Loving Newspoint? Download the app now